GBSEPM|AGUP|14|2017|H.S.S 15 फरवरी 2017
To,
माननीय राष्ट्रपति महोदय , भारत गणतंत्र
समस्त चेयरमेन्स ग्रामीण बैंक
समस्त पत्रकार भारत गणतंत्र
प्यारे मित्रों व विरोधियो , ग्राहको , प्रजाजनो ,
माननीयो,
विषय :–“20 वीं वर्षगांठ और आपका प्यारा GBSEPMमंच”
दिनांक 28 फरवरी 1998 को BANKING जगत से भ्रष्टाचार भगाने सामने आ गया GBSEPM यानी ग्रामीण बैंक स्वाधीनता एवं प्रतिरक्षा मंच दीप जलाकर भ्रष्टाचार भगाओ और ग्रामीण जगत में बैंकर्स ईमानदारी की नींव मजबूत करने के उद्देश्य से स्थापित मंच भ्रष्टाचारीयों को शूल की तरह लग रहा है, जिसकी परवाह नही दिनांक 28 फरवरी 2017 दिन मंगलवार को GBSEPM पर दीप जलाकर ईमानदारी को मजबूत किया जायेगा ।
v प्रमोशन के लालच में ईमान गिरा कर जीवन जीने से याचापलूस और घूस खोर कहलाना मानव को स्तर हीन बना देता है ।
v स्थानांत्रण के लालच में नौकरी करने वाला गुलाम की तरह जीवन व्यापन करता है ।
v भ्रष्टाचार की कमाई से भवन , जीवन स्तर बढ़ाने वाला देश-द्रोही का जीवन सर झुका कर जीता है ।
v चापलूस नेता भारत का कलंकी कपूत की तरह स्वाभिमान रहित जीवन जीता है ।
v जिसका पेट सरकारी वेतन से नही भरता वह जानवर की तरह भूखा ही रहता है ।
v GBSEPM और स्वाधीनता का मतलब जानो प्यारो , भ्रष्टाचार रहित बैंकिग समाज जहाँ पूर्णतः ईमानदारी से काम किया जाय ।
v कार्मिक और अधिकारी जिनकी सोच में देश-प्रेम समाज प्रेम है और ईमानदारी विचार है वही GBSEPM के प्यारे है ।
v दिन 28 फरवरी को भ्रष्टाचार के कारण संगठन NOBO को धक्का मारकर खुले जगत में मंच संयोजक के रूप में हरीशंकर शर्मा सामने आ गया , अन्य संगठनो में भी पर्याप्त भ्रष्टाचार देखकर दूरी बनाकर आज बीस वीं वर्षगांठ मनायी जा रही है ।
v सादगी, स्वच्छता और ईमान सोच ही GBSEPM मंच की परम्परा है, केवल दीप जलाकर ही 28 फरवरी 2017 सादगी पूर्ण निष्ठा से मनायी जायेगी ।
समस्यायें:-
v भ्रष्टाचार बैंकिग जगत से दूर रहे ।
v नकली नोट चलन में ना रह पाये ।
v ऋण वितरण बिना घूस – रिश्वत किया जाये ।
v प्रमोशन स्केल I , II , III , IV अनिवार्य रूप से दूसरे जिले में न्यूनतम 3 वर्ष काम करे।
v संगठन और नेतागण स्थानांत्रण नीति का पूर्णतः पालन करे और दूसरे जिलो में न्यूनतम 3 वर्ष काम करें ।
v पेंन्शन नीति नव वर्ष 01 अप्रेल 2017 में निश्चित रूप में लागू की जाये ।
v ग्रामीण बैंकर्स को पेंन्शन मामले पर बार-बार सर्वोच्य न्यायालय की शरण जाने पर भारत सरकार शर्म महसूस करे , यानी सोचे ।
v मृतक कर्मी व अधिकारी के परिवार के सदस्यों को नौकरी की तारीख से 60 वर्ष तक यानी रिटायरमेंण्ट तक किसी भी हालात में मृत्यु होने पर 90 दिन में JOB दिया जाय , वित्त मंत्रालय मृतक परिवार पर दया भाव रखे ।
v स्टाफ ऋणों पर चक्रवृत्ति ब्याज लगाने वाले ग्रामीण बैंक चेयरमेनों को 90 दिनों तक जेल में रखा जाय , जैसे भवन ऋण , वाहन ऋण , शिक्षा ऋण आदि ।
v ग्रामीण बैंको में शनिवार का अवकाश पूरे साल रखा जाय ।
v ग्रामीण बैंको में काम के घंटे 6 रखे जाये ।
v डबल शिफ्ट बैंकिग शुरु की जाय जैसे प्रातः [8 AM To 2 PM ] [ 2 PM To 8 PM ]
ताकि ग्रामीण जगत विश्व पटल पर नम्बर ONE भारत हो ।
v ग्रामीण बैंको में वेतन मान निम्न प्रकार से होना चाहिये ,
v चपरासी बेसिक रु– 20,000 से रु- 40,000 तक
बाबू बेसिक रु-40,000 से रु- 60,000 तक
अधिकारी स्केल Iरु– 60,000/-से रु- 1,00,000/-तक
अधिकारी स्केलII रु– 80,000/-से रु- 1,20,000/-तक
अधिकारी स्केल III रु– 1,00,000/- से रु- 1,40,000/- तक
अधिकारी स्केल IVरु– 1,20,000/- से रु- 1,60,000/- तक
अधिकारी स्केल V रु– 1,40,000/- से रु- 1,80,000/- तक
अधिकारी स्केल V से ऊपर रु– 2,00,000/- से रु- 2,40,000/-END रु-3,00,000/-
भारत सरकार बैंकर्स के साथ समानता का पैमाना माने , बैंकर्स लाभदायी व्यापारी है, समय से वेतन मान लागू किया जाय ।
v समझौते में लालची , रिटायर देश-द्रोही नेताऔं को बैठक से बाहर ही रखा जाये ।
v समस्त ग्रामीण बैंको का एक चेयरमेंन मात्र नाबार्ड अधिकारी व बोर्ड बनाया जाये,
महाप्रबन्धक व सहायक महाप्रबन्धक ईमानदार ग्रामीण बैंकर्स अधिकारी ही बनाया जाये ।
v प्रवर्तक बैंको ने नोट बन्दी के दौरान भरपूर पैसा ग्रामीण बैंको को नही दिया परिणाम स्वरूप ग्राहक सेवा में व्यवधान आ गया जिसके लिये RBI गवर्नर पूर्णतः जिम्मेदार है ।
v ग्रामीण बैंको को कर वसूली व ट्रेजरी कार्य से दूर रखा जा रहा है, ऐसा पक्षपात क्यों ?
v ग्रामीण बैंको की शाखायें भरपूर क्यों नही खोली जा रही है ?
v नोट-बन्दी के बाद ऋण वितरण डगमगा गया है यानी लाभदायकता का स्तर गिर गया है जिसके लिये वित्त मंत्रालय पूर्णतः जिम्मेदार है क्यौकि स्थायी कर्मचारी अधिकारी पूर्णतः भर्ती नहीं किये , BC नाकारा साबित हुये क्यौकि पावर हीन व नोटबन्दी भीषण आपात साबित हुआ ।
v द्वेश भाव से काम करने वाला नेता , मंत्री कर्मचारी देश भक्त नहीं हो सकता ।
जय भारत माँ ।
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